सांप्रदायिक ताकतों को देना होगा मुंहतोड़ जवाब
महिलाओं को उच्च शिक्षा में आगे बढ़ाना जरूरी

बिलासपुर ( Fourthline )।देश के वरिष्ठ और चर्चित पत्रकार नवीन कुमार ने बुद्धिस्ट महासभा के आयोजन में मुख्य वक्ता के रूप में कहा कि अब वह समय आ गया है कि हिंदू और मुस्लिमों में फिर रोटी और बेटी का संबंध शुरू हो। सांप्रदायिक ताकतों को मुंहतोड़ जवाब देने का इससे बेहतर तरीका नहीं हो सकता। आज जो नफरत की राजनीति की जा रही है, उसे खत्म करना होगा।

श्री कुमार ने कहा कि आज के दौर में पिछड़े वर्गों और दलित महिलाओं को उच्च शिक्षा की जरूरत है। सरकार को सोचना चाहिए कि किसके लिए नई योजनाएं बनाएं ।उन्होंने कहा सावित्री बाई फुले की शिक्षाओं का अनुकरण करते हुए अब कोशिश होनी चाहिए कि ज्यादा से ज्यादा शक्ति महिलाओं के हाथ में हो। उन्होंने कहा संविधान बदलने की कोशिश की जा रही है और एक नया मनुवादी विधान बनाने की तैयारी चल रही है। सरकार को संविधान संशोधन करना है तो इसके लिए उसे जनमत संग्रह कराना चाहिए। उन्होंने कहा कि आज निजी विश्वविद्यालयों की संख्या 450 है जबकि शासकीय यूनिवर्सिटी की संख्या सिर्फ 386 है‌ गरीबों के लिए यूनिवर्सिटी में विशेष प्रावधान किए जाएं ताकि दलित और पिछड़ी जातियां उच्च शिक्षा में और आगे बढ़ सकें‌। उन्होंने रुकैया शेखावत और फातिमा शेख का उदाहरण देते हुए कहा कि दलित महिलाओं को शिक्षा बहुत जरूरी है। इन दिनों देश में बेरोजगारी चरम पर है इसका हल ढूंढना चाहिए। सरकार को चाहिए कि नई योजनाएं बनाएं जिसका लाभ पिछड़ी जातियों को मिले । उन्होंने कहा जो बार-बार इतिहास बदलने की बात की जा रही है, यह ठीक नहीं है। इस तरह इतिहास से छेड़छाड़ करके किसी का भला नहीं किया जा सकता।
भारतीय बुद्धिस्ट महासभा द्वारा आयोजित सावित्रीबाई फुले जयंती एवं भीमा कोरेगांव शौर्य दिवस बिलासपुर के अंबेडकर चौक में मनाया गया‌। भारतीय संविधान की प्रस्तावना पढ़कर कार्यक्रम प्रारंभ हुआ महासभा के अध्यक्ष चंद्र बोधि पाटिल ने कहा कि कोविड-19 के कारण 2 साल से सम्मेलन नहीं हो पा रहा था। कोरेगांव में भी एक विशेष आयोजन हुआ करता था , जो 2 साल से नहीं हुआ। इस बार सारे कार्यक्रम यथावत हुए और जन सहयोग से सफल रहे। उन्होंने कहा डेढ़ सौ वर्ष पूर्व जो आंदोलन शुरू हुआ था, वह आज भी चल रहा है। दलित और अल्पसंख्यकों का संघर्ष आज भी जारी है।

मातोश्री फुले हमारी प्रेरणास्रोत- अटल

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए छत्तीसगढ़ पर्यटन मंडल के अध्यक्ष अटल श्रीवास्तव ने कहा कि मातोश्री सावित्रीबाई सभी महिलाओं के लिए प्रेरणास्रोत हैं। उनके बताए मार्ग पर चलना चाहिए और उनके आदर्शों को अपनाना चाहिए। आज के दौर में महिला शिक्षा की बहुत ज्यादा जरूरत है। सावित्रीबाई के विचारों को आत्मसात करना चाहि्ए।

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