नई दिल्ली। Medha Patkar sentenced in defamation case: सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर को दिल्ली की साकेत कोर्ट ने उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना की ओर से दायर आपराधिक मानहानि केस में 5 महीने कैद और 10 लाख रूपए जुर्माने की सजा सुनाई है।
Medha Patkar sentenced in defamation case: कोर्ट ने 23 साल पुराने मानहानि मामले में यह फैसला सुनाया है। यह मामला दिल्ली के उपराज्यपाल से जुड़ा है। दिल्ली के उपराज्यपाल ने साल 2001 में नर्मदा बचाओ आंदोलन की कार्यकर्ता मेधा पाटकर के खिलाफ मानहानि की याचिका दाखिल की थी। याचिका में उन्होंने कहा कि पाटकर द्वारा उनके खिलाफ झूठे आरोप, व्यंग्यपूर्ण अभिव्यक्ति और गलत लांछन लगाया गया। दिल्ली की साकेत कोर्ट में इस मामले की सुनवाई हुई और अदालत ने सामाजिक कार्यकर्ता मेधा पाटकर को दोषी पाया।
Medha Patkar sentenced in defamation case: वहीं इस मामले में अदालत ने टिप्पणी करते हुए कहा कि दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद यह साबित हो गया कि मेधा पाटकर ने केवल प्रतिष्ठा को क्षति पहुंचाने के लिए झूठे आरोप लगाए थे। साकेत कोर्ट ने सामाजिक कार्यकर्ता को 5 महीने की जेल और 10 लाख जुर्माने की सजा सुनाई। मेधा पाटकर मुआवजे के तौर पर 10 लाख रुपये विनय सक्सेना को देंगी।